
हमीरपुर से कांग्रेस ने भेजे पैनल में नाम
– सतपाल रायजादा और धर्मेंद्र पटियाल का नाम प्रमुख
-सुनील बिटटु का नाम भी है चर्चाओं में
-महिला उम्मीदवारों में कमलेश ठाकुर और आस्था अग्निहोत्री
हमीरपुर ब्यूरो
हिमाचल प्रदेश कांग्रेस का आज दिल्ली में लोकसभा चुनावों के लिए टिकट आबंटन को लेकर मंथन होगा। हमीरपुर लोकसभा क्षेत्र की बात करें तो हमीरपुर लोकसभा क्षेत्र से भारतीय जनता पार्टी ने अपने हैवीवेट उम्मीदवार अनुराग ठाकुर को पहले ही यहां से चुनावी अखाडे में उतार दिया है। हमीरपुर लोकसभा क्षेत्र कांग्रेस के लिए यही सबसे बडी समस्या है कि उनके पास एक भी बडा चेहरा या नाम हमीरपुर संसदीय क्षेत्र में ऐसा नहीं है कि अनुराग ठाकुर को टक्कर दे सकें। कांग्रेस जिन लोगों पर अब तक दांव लगाती रही है, वे सब अनुराग ठाकुर के सामन फिसडडी साबित हुए हैं। जमीन से जुडे नेताओं का कांग्रेस में वैसे ही अकाल है। ऐसे मेें कांग्रेस हमीरपुर संसदीय क्षेत्र में टिकट आबंटन के लिए फूंक फूंक कर कदम रखना चाहती है।
पहले माना जा रहा था कि कांग्रेस उपमुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री को चुनावी समर में उतार सकती है, लेकिन जिस प्रकार से उनके परिवार की परिस्थितियां बदली हैं, ऐसे में उनका चुनावी समर में उतरना नामुमकिन से लग रहा है। अब तक जो नाम कांग्रेस की तरफ से सामने आ रहे हैं, उनमें उना सदर के पूर्व विधायक एवं तेज तरार नेता व मुख्यमंत्री सुख्खु के हनुमान माने जाने वाले सतपाल रायजादा का नाम सबसे मजबूत दावेदारों में आ रहा है। वहीं कांग्रेस, हमीरपुर के सैनिक बहुल इलाके में सेंधमारी करने के उदेश्य से पूर्व सेनाधिकारी धमेंद्र पटियाल पर भी दांव लगा सकती है। एक अन्य नाम जो सूर्खियों में है, वह है, हमीरपुर से सुखविंद्र सिंह सुख्खु के खासमखास रहे, कैबिनेट रैंक से सुशोभित सुनील शर्मा बिटटु का। पुरूष उम्मीदवारों में इन तीन के अतिरिक्त अन्य नाम भी भेजे गए है। जिन पर कांग्रेस द्वारा फिलहाल चर्चा नहीं की गई है। दूसरी तरफ महिला उम्मीदवारों की बात करें तो मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुख्खु की धर्मपत्नी कमलेश ठाकुर और उपमुख्यमंत्री मूकेश अग्निहोत्री की बेटी आस्था अग्निहोत्री के नाम पर भी चर्चा हो सकती है। हमीरपुर सीट को लेकर कांग्रेस हाईकमाना काफी संजीदगी दिखा रही थी लेकिन विधायकों के पाला बदलने से कांग्रेस को कई चुनौतियों का सामना करना पडेगा, जिससे इंकार नहीं किया जा सकता है। वहीं दूसरी तरफ इसी सीट पर मुख्यमंत्री की साख भी दांव पर लगी हुई है। मुख्यमंत्री की गृह सीट होने के कारण उन पर इस सीट को लेकर ज्यादा दवाब की संभावना है। कांग्रेस पार्टी लगभग तीस सालों से इस सीट को भाजपा से हथियानें में नाकाम रही है। सुरेश चंदेल, प्रो प्रेम कुमार धूमल और अब अनुराग ठाकुर, लगातार इस सीट से अपना चुनाव जीत रहे हैं तो भाजपा को चुनौति देने के लिए कांग्रेस को अपनी बडी ताकत झोंकनी पडेगी।
न्यूज खबर ब्यूरो