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विवेकानंद वशिष्ठ/हमीरपुर :- अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद हिमाचल प्रदेश के प्रदेश मंत्री आकाश नेगी ने एक ब्यान जारी करते हुए कहा कि हिमाचल प्रदेश में कांग्रेस सरकार द्वारा 6 बहुतकनीकी कॉलेज, 14 आईटीआई, 43 आयुर्वेदिक संस्थान, 100 पशु औषधालय बंद करने के निर्णय का कड़ा विरोध करती है। उन्होंने जानकारी देते हुए बताया है कि हिमाचल में अब तक कांग्रेस सरकार ने विभिन्न विभागों के 504 कार्यालय और संस्थानों को डिनोटिफाई किया है। जो कि बहुत ही दुर्भाग्यपूर्ण है। प्रदेश में चुनावों से पहले अपने घोषणा पत्रों में हिमाचल प्रदेश की भोली-भाली जनता को प्रलोभन देकर सत्ता में आई कांग्रेस सरकार ने आते ही प्रदेश की जनता को गुमराह करने का काम किया है। सत्ता का नशा इतना हावी हो गया है कि अभी सत्ता में आए कुछ ही दिन हुए हैं और अभी तक 504 विभागों व संस्थानों को बंद कर दिया है। चुनावों से पहले बड़े-बड़े वादे करके सत्ता में आई सरकार ने अभी तक प्रदेश की जनता के हित में कोई भी फैसला नहीं लिया है जबकि पूर्व की सरकार ने जो शिक्षण संस्थान जो विभागों के कार्यालयों लोगों के हित के लिए खोले थे उनको सिर्फ और सिर्फ डिनोटिफाई करने का काम अब तक ही सरकार ने किया है। अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद सस्ती , सर्वस्पर्शी व गुणवत्तापूर्वक शिक्षा की बात करती है। हिमाचल कांग्रेस सरकार ने अभी तक अपनी कैबिनेट में विभागों का आवंटन भी नहीं किया और उससे पहले ही अन्य को शिक्षण संस्थानों को बंद कर दिया जिससे हिमाचल प्रदेश के लाखों छात्रों को नुकसान पहुंचाने का काम हिमाचल की कांग्रेस सरकार ने किया है। हिमाचल प्रदेश में दूरदराज क्षेत्रों में गरीब परिवारों के बच्चे भी पढ़ते हैं जिन को देखते हुए ही पूर्व की सरकार ने हर क्षेत्र में शिक्षण संस्थान खोले थे ताकि उन गरीब बच्चों को भी सस्ती व गुणवत्ता पूर्वक शिक्षा प्राप्त हो सके। प्रदेश की कांग्रेस सरकार ने जो यह छात्र विरोधी निर्णय लिए हैं इसका विद्यार्थी परिषद कड़े शब्दों में विरोध करती है।
आज देखा जाए तो भारत स्किल डिवॉल्वमेंट की ओर आगे बढ़ रहा है और इसी को ही देखते हुए बहुतनीकी विश्वविद्यालय, आईटीआई खोली गई थी ताकि हिमाचल प्रदेश के दूरदराज क्षेत्रों से गरीब परिवार से संबंध रखने वाले छात्र भी अच्छी शिक्षा ग्रहण कर सके। लेकिन हिमाचल की कांग्रेस सरकार ने इन सभी शिक्षण संस्थानों को बंद करके छात्र विरोधी निर्णय लिया है जोकि बहुत ही तो दुर्भाग्यपूर्ण विषय है।
जेओए आईटी भर्ती परीक्षा पेपर लीक मामला दुर्भाग्यपूर्ण
जेओए आईटी भर्ती पेपर लीक का मामला सामने आया है जोकि हिमाचल प्रदेश के लिए बहुत ही दुर्भाग्यपूर्ण है। आकाश नेगी ने कहा है कि हिमाचल प्रदेश कर्मचारी चयन आयोग की 25 दिसंबर को होने वाली पोस्ट कोड 965 जे ओए आईटी भर्ती की लिखित परीक्षा से 2 दिन पहले पेपर लीक हो गया। उन्होंने बताया कि 319 पदों के लिए इस परीक्षा के लिए 1,03,340 अभ्यर्थियों ने परीक्षा देनी थी। पेपर लीक होने की वजह से इस परीक्षा को रद्द कर दिया गया है और इसमें जो आरोपी पकड़े गए हैं अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद हिमाचल प्रदेश सरकार व प्रशासन से मांग करती है कि आरोपियों को कड़ी से कड़ी सजा दी जाए और पब्लिक मामले में शामिल अन्य लोगों को भी जल्द से जल्द पकड़ा जाए अन्यथा विद्यार्थी परिषद पूरे प्रदेश के छात्रों को लामबंद करते हुए सड़कों पर उतर से भी गुरेज नहीं करेगी।